खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने मंगलवार को संसद में बताया कि 2017-18 से 2021-22 के बीच केंद्र सरकार ने भारतीय पैरालंपिक समिति को 32 करोड़ रुपये से अधिक आवंटित किए हैं। लोकसभा में एक सवाल के जवाब में ठाकुर ने कहा कि यह राशि राष्ट्रीय खेल महासंघों को सहायता की योजना के तहत दी गई। उन्होंने यह भी कहा कि पैरा एथलीटों के लिए टारगेट ओलंपिक पोडियम योजना (टॉप्स) के तहत पिछले पैरालंपिक सत्र में 10.50 करोड़ रुपये खर्च किये गए। भारत ने टोक्यो पैरालंपिक में पांच गोल्ड, आठ सिल्वर और छह ब्रॉन्ज समेत 19 मेडल जीते थे।
खेल मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘पैरा खेलों को सरकार की वित्तीय सहायता के लिए ‘ प्राथमिकता सूची’ में रखा गया है। पैरा खिलाड़ियों को अभ्यास और मुकाबले के लिए जरूरी सहायता दी जा रही है।’ एक अन्य सवाल के जवाब में ठाकुर ने लोकसभा में कहा कि खेलो इंडिया योजना के तहत पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए विभिन्न वर्गों में खेलों के बुनियादी ढांचे से जुड़ी 62 परियोजनाओं पर 423 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।
भारतीय पैरालंपिक समिति (पीसीआई) देश में पैरा एथलीटों के लिए मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय खेल परिसंघ (एनएसएफ) है। भारत सरकार द्वारा पीसीआई को राष्ट्रीय कोचिंग शिविरों के आयोजन, विदेशी एक्सपोजर, राष्ट्रीय चैंपियनशिपों, उपकरणों की खरीद, कोच और खेल स्टाफ के वेतन आदि के लिए राष्ट्रीय खेल परिसंघों को सहायता की स्कीम के तहत निधियां/ अनुदान प्रदान किया जाता है। पैरालंपिक एथलीटों की विशेष जरूरतों को पूरा करने के साथ-साथ उन्हें अन्य खिलाड़ियों के समान सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान की जाती हैं।
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