• विधायक मामन पर पुलिस ने रिमांड के दौरान एक और IPC की धारा बढ़ाई
• पुलिस हिरासत में मामन खान से मिल सकेंगे उनके दो वकील
यूनुस अल्वी
नूंह/मेवात
फिरोजपुर झिरका से कांग्रेस विधायक मामन खान को लेकर तीन बाते सामने आ रही है। पहली बात तो ये ही की पुलिस हिरासत में रिमांड के दौरान विधायक मामन से उसके दो वकील एक साथ मिल सकेंगे। ये आदेश नूंह अदालत ने दिया है। जबकि दूसरा बात पुलिस ने विधायक मामन की अदालत में की शिकायत कर आरोप लगाया है की जांच में मामन खान कोई सहयोग नहीं कर रहे हैं। जांच में सहयोग ने करने पर पुलिस ने मामन खान पर आईपीसी की एक और धारा 180 को लगा दिया है। फिलहाल मामन खान नगीना थाने में दर्ज मुकदमा नंबर 137 में पुलिस रिमांड पर है। उनको मांगवार को अदालत में पेश किया जाएगा। तीनो मामले किया है, इनको अब आपको तफसील से बताते है।
आपको बता दें की नूंह पुलिस द्वारा रविवार को विधायक मामन खान को नगीना थाने में दर्ज मुकदमा नंबर 149 में दो दिन का रिमांड पूरा होने पर नूंह के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, जोगेन्द्र सिंह की अदालत में पेश किया। वहीं नगीना थाने में दर्ज अन्य मुकदमा नंबर 137 में अदालत से रिमांड पर भी मांगा। इस दौरान अदालत में पेश किए गए रिमांड पेपर में पुलिस द्वारा कार्यवाही का उल्लेख करते हुए कहा कि आरोपी मामन खान को मुकदमा नंबर 137 में पांच दिन की पुलिस रिमांड दिया जाए। जांच अधिकारी ने आरोप लगाया गया कि अब तक की गई जांच में आरोपी मामन खान ने पुलिस के साथ सहयोग नहीं किया है। और वह तर्कसंगत या उचित उत्तर नहीं दे रहा है। आरोपी का खुलासा बयान लिखा गया था और उसने उस पर अपने हस्ताक्षर करने से इनकार कर दिया था और इसके कारण, इस मामले में आईपीसी की धारा 180 को शामिल किया गया है। इससे पता चलता है कि आरोपी ने साजिश के बारे में पूरी और उचित जानकारी प्रदान नहीं की है और दंगों को बढ़ावा देने की तैयारी और आरोपियों को सीसीटीवी फुटेज और उन लोगों की तस्वीरें दिखाकर दंगों में शामिल व्यक्तियों की पहचान निर्धारित की जानी है। इस मामले में सबूत इकट्ठा करने के लिए आगे की पूछताछ की जानी है। उसके बाद अदालत ने दोनो पक्षों की दलीलें सुनने के बाद आरोपी मामन खान को दो दिन के पुलिस रिमांड पर भेजने के आदेश दे दिए।
आखिर आईपीसी की धारा 180 क्या है
जो कोई भी अपने द्वारा दिए गए किसी भी बयान पर हस्ताक्षर करने से इनकार करता है, जब एक लोक सेवक द्वारा उस बयान पर हस्ताक्षर करने की आवश्यकता होती है, जो कानूनी रूप से सक्षम है कि वह उस बयान पर हस्ताक्षर करेगा, तो उसे एक अवधि के लिए साधारण कारावास से दंडित किया जाएगा। जो तीन महीने तक की सजा बढ़ सकती है या जुर्माना जो पांच सौ रुपये तक बढ़ाया जा सकता है, या दोनों से दंडित किया जा सकता है।,
पुलिस हिरासत में रिमांड के दौरान विधायक मामन से मिल सकेगें उसके दो वकील
आपको बता दे की नूंह हिंसा मामले में फिरोजपुर झिरका से कांग्रेस विधायक मामन खान पुलिस हिरासत में हैं। नूंह के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, जोगेन्द्र सिंह की अदालत ने तीन वकीलों को पुलिस हिरासत के दौरान आरोपी मामन खान से एक साथ दो वकीलों को मिलने की मंजूरी दी है। रविवार को वरिष्ठ ऐडवोकेट ताहिर हुसैन रूपड़िया करीब 30 मिनिट तक पुलिस हिरासत में मामन खान ने मिले हैं। सोमवार की देर शाम मामन खान के मुकदमा की पैरवी कर रहे वरिष्ठ ऐडवोकेट ताहिर हुसैन रूपड़िया और वरिष्ठ ऐडवोकेट ताहिर हुसैन देवला दोनो मुलाकात करने वाले हैं।
गौरलतब है कि पुलिस हिरासत में मामन खान से मिलने बारे उनके मुकदमा की पेरवी कर रहे वकीलों ने एक दरखस्त नूंह के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, जोगेन्द्र सिंह की अदालत रविवार को लगाई थी। जिसमें मांग की गई थी कि उनके मुवक्किल मामन खान से दौराने हिरासत रिमांड वरिष्ठ ऐडवोकेट ताहिर हुसैन रूपड़िया, वरिष्ठ ऐडवोकेट ताहिर हुसैन देवला और वरिष्ठ ऐडवोकेट मुजीब खान को मिलने दिया जाए। वहीं अदालत ने अपने आदेश में कहा कि गिरफ्तार व्यक्ति को पूछताछ के दौरान अपनी पसंद के वकील से मिलने का अधिकार है। जब किसी व्यक्ति को पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया जाता है और पूछताछ की जाती है, तो वह पूछताछ के दौरान अपनी पसंद के वकील से मिलने का हकदार होगा, हालांकि पुलिस पूछताछ के दौरान नहीं।
ताहिर हुसैन रूपड़िया और ताहिर हुसैन देवला ने बताया कि अदालत ने एक साथ दो वकीलों को मामन खान से मिलने की इजाजत दे दी है। सोमवार को देर शाम वे दोनों वकील मामन खान से पुलिस हिरासत में मिलने जा रहे है।
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