Khabarhaq

मोदी सरकार में इलेक्टोरल बॉन्ड आजादी के बाद का सबसे बड़ा घोटाला: आफताब अहमद 

Advertisement

मोदी सरकार में इलेक्टोरल बॉन्ड आजादी के बाद का सबसे बड़ा घोटाला: आफताब अहमद 

सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में हो जांच
ईडी, आईटी बीजेपी सहयोगी के रूप में कर रही काम 
दीपक कुमार नूंह :
लोकसभा चुनाव से पूर्व इलेक्टोरल बॉन्ड के आंकड़े सार्वजनिक होने के बाद सियासी बवाल लगातार बढ़ रहा है, कांग्रेस सहित सभी विपक्षी दल इस मुद्दे पर भाजपा और केंद्र की मोदी सरकार को घेरने में जुटे हैं। दक्षिण हरियाणा के कद्दावर नेता आफताब अहमद ने पत्रकारों से बातचीत में सरकार पर जमकर निशाना साधा है। कांग्रेस विधायक दल के उप नेता चौधरी आफताब अहमद ने भी इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए चुनावी चंदा लेने के मामले में भाजपा की मोदी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को भाजपा का सीधा हाथ बताया है। आफताब अहमद ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी कहते थे कि ना खाऊँगा, ना खाने दूँगा लेकिन आज साफ़ है कि ऐसा लगता है कि वो बीजेपी को खूब खिला रहे हैं।
बता दें कि बीजेपी सरकार ने इलेक्टोरल बॉन्ड योजना की घोषणा 2017 में की थी लेकिन इसी साल 15 फ़रवरी को सुप्रीम कोर्ट ने इसे असंवैधानिक करार दिया, साथ ही शीर्ष न्यायालय ने एसबीआई को तुरंत इलेक्टोरल बॉन्ड की जानकारी चुनाव आयोग को देने को कहा। काफ़ी ना नुकुर के बाद एसबीआई ने जो आँकड़े माननीय सर्वोच्च अदालत को दिये हैं उनमें चौंकाने वाली जानकारी आ रही है। 2019 से 2024 के बीच चंदा देने वाली पाँच प्रमुख कंपनियों में से तीन ने इलेक्टोरल बॉण्ड से चंदा तब दिया जब उनपर ED, IT, की जांच चल रही थी।
विधायक आफताब अहमद ने कहा इलेक्टोरल बॉन्ड डाटा सार्वजनिक होने के बाद बीजेपी द्वारा मचाई गई लूट देश के सामने आ गई है, इलेक्टोरल बॉन्ड की जानकारी से तो ऐसा लगता है कि जैसे ईडी भाजपा का दाहिना हाथ बनकर रह गई है। जिन कंपनियों पर केंद्रीय एजेंसियों ने छापे मारे, उन्होंने ही भाजपा को इलेक्टोरल बॉन्ड से चंदा दिया और उन पर चल रही कार्रवाई रुक गईं। आफताब ने कहा कि भाजपा ने सट्टेबाजी, जुआ आदि का काम करने वाली कंपनियों तक से चंदा लिया है, ये ही भाजपा के चरित्र का सत्यापन है। कांग्रेस शुरू से कह रहे थी कि इलेक्टोरल बॉन्ड देश का सबसे बड़ा घोटाला है, अब ये देश के सामने आ गया है कि भाजपा देश की सबसे भ्रष्ट पार्टी है, जिसने भ्रष्टाचार का सरकारीकरण कर दिया है।विधायक आफताब ने कहा कि ये आश्चर्यजनक है कि जो कंपनियां घाटे में चल रही हैं, वो भी करोड़ों का चंदा भाजपा को दे रही हैं। भाजपा के दबाव में मीडिया भी इलेक्टोरल बॉन्ड के मुद्दे पर कोई चर्चा नहीं दिखा रही है। यह एक लोकतंत्र में उचित नहीं है कि जनता को सच्चाई ही ना बताई जाए और गुमराह किया जाए। भाजपा का ये भ्रष्टाचार अब कैसे भी नहीं छिप सकता है। विधायक आफताब अहमद ने कहा कि सबसे अधिक कीमत के इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदने वाली कंपनी फ्यूचर गेमिंग एंड होटल सर्विसेज़ है इस कंपनी पर ईडी ने 2019 में मनी लाउंड्रिंग की जाँच शुरू की थी। फ़्यूचर गेमिंग ने कुल 1368 करोड़ रुपये के बांड दान दिये हैं, वहीं मेघा इंजीनियरिंग ने 966 करोड़ रुपये दिए जबकि मेघा इंजीनियरिंग के ख़िलाफ़ भी ED ने 2019 में जाँच शुरू की थी। वेदांता लिमिटेड ने 376 करोड़ दान किए हैं ये वही कंपनी है जिसपर 2018 के मध्य में ED ने जाँच शुरू कर गड़बड़ी के आरोप लगाए थे। विधायक आफताब अहमद ने कहा कि  11 अप्रैल 2023 को मेघा इंजीनियरिंग ने 100 करोड़ के इलेक्टोरल बॉन्ड किसको दिए? लेकिन एक महीने के अंदर ही उसे बीजेपी की महाराष्ट्र सरकार से 14,400 करोड़ रुपये कॉन्ट्रैक्ट मिल जाता है; हालांकि, एसबीआई ने इस जानकारी में बॉन्ड के नंबर छिपा लिए हैं। बीजेपी ने इस अवधि में कुल 60 अरब रुपये से अधिक के इलेक्टोरल बॉन्ड को भुनाया है, वहीं इस मामले में दूसरे नंबर पर तृणमूल कांग्रेस है, जिसने 16 अरब रुपये से अधिक के इलेक्टोरल बॉन्ड को इनकैश किया है। विधायक आफताब अहमद ने कहा कि और अधिक जानकारी सामने आने वाली है लेकिन ये साफ़ है कि बीजेपी को भारी चंदा मिला, फिर चंदे के बाद किसी को ईडी से छुटकारा मिला तो किसी कंपनी को हजारों करोड़ का धंधा मिला। उन्होंने कहा कि आजादी के बाद का ये सबसे बड़ा घोटाला है जिसकी जांच सर्वोच्च न्यायालय के वर्तमान जज की निगरानी में की जानी चाहिए और जनता के सामने सच आना चाहिए कि कैसे जनता को बरगला कर सबसे बड़ी लूट को अंजाम दिया गया। इस दौरान पीसीसी सदस्य महताब अहमद भी उनके साथ मौजूद थे।
फोटो: प्रेस कांफ्रेंस कर जानकारी देते विधायक आफताब अहमद।
Khabarhaq
Author: Khabarhaq

0 Comments

No Comment.

Advertisement

हिरयाणा न्यूज़

महाराष्ट्र न्यूज़

हमारा FB पेज लाइक करे

यह भी पढ़े

Please try to copy from other website