शादी के छह महीनों में आन लाइन पंजीकरण होना अनिवार्य : डीसी
-मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का लाभ लेने के अब जरूरी हुई रजिस्टे्रशन प्रक्रिया
ख़बर हक
नूंह, 05 दिसंबर :
डीसी अजय कुमार ने कहा कि प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का लाभ पात्र लाभार्थियों को विवाह के ऑनलाइन पंजीकरण करवाने के उपरांत ही दिया जाएगा। इसके लिए लाभपात्र विवाहिता की शादी का ई -दिशा पोर्टल पर पंजीकरण होना अत्यंत जरूरी है। उन्होंने बताया कि जो परिवार मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का लाभ लेना चाहते हैं, वे अपनी बेटी की शादी के छह महीने पूरे होने से पहले शादी.ईदिशा.जीओवी.इन पर ऑनलाईन पंजीकरण करवा दें। यह पंजीकरण होने के पश्चात ही विवाहित कन्या केे माता-पिता को मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का अनुदान दिया जाएगा।
डीसी ने बताया कि अनुसूचित एवं विमुक्त जाति के परिवार का नाम बीपीएल सूची में है तो उसको कन्या विवाह शगुन योजना के अंतर्गत 71 हजार रूपए का लाभ दिया जाएगा। सभी वर्गों की विधवा महिलाएं, बेसहारा महिला, अनाथ बच्चे, बीपीएल सूचि में है तो या उनकी आय एक लाख 80 हजार रूपए से कम है तो उनको इस योजना में 51 हजार रूपए का अनुदान दिया जाएगा।
बीपीएल सूची में सामान्य या पिछड़े वर्ग के परिवार को 31 हजार रूपए का लाभ
उन्होंने बताया कि बीपीएल सूची में सामान्य या पिछड़े वर्ग के परिवार को 31 हजार रूपए का अनुदान मिलेगा। इसी तरह अनुसूचित वर्ग या विमुक्त जाति का परिवार बीपीएल सूचि में नहीं है और जिनकी वार्षिक आय एक लाख 80 हजार रूपए से कम है, उनको 31 हजार रूपए का अनुदान दिया जाएगा। विवाहित युगल चालीस प्रतिशत या इससे ज्यादा दिव्यांग है तो उन्हें 51 हजार रूपए और पति-पत्नी में से एक जन चालीस प्रतिशत या इससे अधिक दिव्यांग है तो उसको 31 हजार रूपए की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी।
पात्र लाभार्थियों को 3 करोड़ 60 लाख रुपये की राशि वितरित
जिला कल्याण अधिकारी अनिल कुमार ने बताया कि जिलाभर में चालू वित्त वर्ष के दौरान अब तक 564 परिवारों को मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का लाभ मिल चुका है। इन लाभपात्रों को सरकार की ओर से 2 करोड़ 30 लाख 85 हजार रूपए दिए जा चुके हैं। योजना से जुड़ी जानकारी के लिए जिला कल्याण अधिकारी कार्यालय नूंह से संपर्क किया जा सकता है।
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