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सुप्रीम कोर्ट के आदेशो की धज्जियां उड़ाकर किए जा रहे है केस और गिरफ्तारियां – नवीन जयहिन्द

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सुप्रीम कोर्ट के आदेशो की धज्जियां उड़ाकर किए जा रहे है केस और गिरफ्तारियां – नवीन जयहिन्द

 

हरियाणा पुलिसकर्मी टोकरे भर-भर के गुलाब दें अमित शाह को, ताकि वे समस्याओ का समाधान करते है

यूनुस अलवी

जयहिन्द ने कहा कि गृह मंत्री अमित शाह 14 फरवरी (वेलेंटाइन डे) को करनाल आ रहे है उन्हें सिंघम को लोगो की आवाज उठाने व अपने विभाग में चल रहे भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने पर फूल देकर सम्मानित करना चाहिए, और जो रिश्वत लेने के आरोप पुलिस पर लगते है इसे देखते हुए हरियाणा पुलिस का वेतन बढ़ाकर पंजाब पुलिस के समान करना चाहिए, ओर समय-समय पर हरियाणा पुलिसकर्मियों को छुट्टी के आदेश जारी करने चाहिए व अन्य जो भी हरियाणा पुलिसकर्मियों की समस्याएं है उनका निवारण करना चाहिए।

प्रेस वार्ता के दौरान नवीन जागीर ने कहा कि पानीपत में हेड कॉन्स्टेबल आशीष उर्फ सिंघम को अपने ही विभाग के भ्र्ष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने पर पुलिस ने सिंघम को गिरफ्तार कर लिया गया है और साथ ही पानीपत के कुछ यूटूबर सोशल मीडिया कर्मी (सुजाता, बिजेन्दर,नरेंद्र जांगड़ा,रचना तलवार,विपक्षी सिंह, अमित, साक्षी,रवि,रविन्द्र व 20 अन्य) पर भी रोड जाम मामले के तहत केस दर्ज किया है इसी को लेकर नवीन जयहिन्द ने शनिवार 11 फरवरी को पानीपत में प्रेसवार्ता की… जयहिन्द ने यूट्यूबरो का हौसला बढ़ाते हुए बताया कि किसी भी यूटूबर साथी को घबराने की जरूरत नही है…उन्होंने कहा कि यह बेशर्म सरकार आपको डराना व दबाना चाहती है ताकि आप किसी भी तरह से लोगो के हको की आवाज न उठा सके।

जयहिन्द ने पत्रकारों की गिरफ्तारी व अन्य किसी भी आम नागरिक की गिरफ्तारी होने पर एक जरूरी जानकारी साझा की व सबूत सहित उदाहरण देते हुए बताया कि सुप्रीम कोर्ट के आरनेश कुमार का जजमेंट है की जिसमे साफ साफ लिखा है की सेक्शन 41A के तहत सात साल से कम सजा वाले मामलो में पुलिस किसी को गिरफ्तार करती है तो उसका नोटिस पन्द्रह दिन पहले देना होगा, बिना नोटिस के पुलिस किसी को भी गिरफ्तार नही कर सकती। ओर अगर पुलिस फिर भी गिरफ्तार करती है तो सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार ज्यूडिशियल अधिकारी पर कंटेम्प्ट लगेगा व जमानत का भी अधिकार मिलेगा। लेकिन यहां सिंघम के मामले में तो सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की भी उलंघना हो रही है।

 

जयहिन्द ने कहा कि हम पूरी तरह से आशीष उर्फ सिंघम व उसके परिवार के साथ है। जिस तरह से सिंघम के साथ व्यवहार किया गया है उससे ये पता चलता है कि हमारे गृह मंत्री गब्बर सिंह नही गड़बड़ सिंह है। इससे साफ पता चलता है कि एक ईमानदार पुलिसवाला इस भृष्ट सिस्टम नही झेला जा रहा है। जयहिन्द कहते है कि यह इस सिस्टम की नाकामयाबी का नतीजा है कि प्रदेश का खेल मंत्री जिस पर इतनी संघीन धाराएं लगी है वो तो बाहर घूम रहा है व न ही उससे अब इस्तीफा लिया गया है और एक ईमानदार पुलिसकर्मी ईमानदारी से अपना काम कर रहा था, लोगो की सेवा कर रहा था तो उसे उठा कर जेल में डाल दिया।

 

यह जो भृष्ट सिस्टम है और जो इनके पालनहार है वो हमारे गृह मंत्री गड़बड़ सिंह है। वो किस मुह से कौनसा दरबार लगाएंगे। इसका मतलब है कि उनके दरबार मे जो भी जाएगा वह जेल में पायेगा। साथ ही जयहिन्द ने माननीय न्यायालय से अपील करते हुए बताया कि आपको यह देखना चाहिए कि अगर कोई भी आदमी इस तरह से भ्रष्टाचार व सिस्टम के खिलाफ लड़ रहा है उसे यह सिस्टम व सरकार कैसे परेशान कर रही है।

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